3 097
Подписчики
-124 часа
-157 дней
-8730 дней
- Подписчики
- Просмотры постов
- ER - коэффициент вовлеченности
Загрузка данных...
Прирост подписчиков
Загрузка данных...
Repost from Springboard Family (Rajendra Choudhary)
Фото недоступноПоказать в Telegram
PSI 2021 - 125 थानेदार की सूची तैयार
🔥 5👍 1😁 1
भारतीय संविधान के प्रमुख संशोधन - 2
69वां संशोधन अधिनियम, 1991
केंद्र शासित प्रदेश दिल्ली को 'राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली' का विशेष दर्जा दिया गया।
दिल्ली में 70 सदस्यीय विधान सभा और 7 सदस्यीय मंत्रिपरिषद की स्थापना की गई।
71वां संशोधन अधिनियम, 1992
कोंकणी, मणिपुरी और नेपाली भाषाओं को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल किया गया।
आधिकारिक भाषाओं की कुल संख्या बढ़कर 18 हो गई।
73वां संशोधन अधिनियम, 1992
पंचायती राज संस्थाओं को संवैधानिक दर्जा दिया गया।
पंचायती राज संस्थाओं और उनसे संबंधित प्रावधानों को मान्यता देने के लिए भारतीय संविधान में एक नया भाग-IX और 11वीं अनुसूची जोड़ी गई।
74वां संशोधन अधिनियम, 1992
शहरी स्थानीय निकायों को संवैधानिक दर्जा दिया गया।
भारतीय संविधान में एक नया भाग IX-A और 12वीं अनुसूची जोड़ी गई।
86वां संशोधन अधिनियम, 2002
प्रारंभिक शिक्षा को मौलिक अधिकार बनाया गया - 6 से 14 वर्ष के बच्चों के लिए निःशुल्क और अनिवार्य शिक्षा
अनुच्छेद 51 ए के अंतर्गत एक नया मौलिक कर्तव्य जोड़ा गया - "भारत के प्रत्येक नागरिक का, जो माता-पिता या संरक्षक है, यह कर्तव्य होगा कि वह अपने बच्चे या प्रतिपाल्य को छह से चौदह वर्ष की आयु के बीच शिक्षा के अवसर प्रदान करे"।
88वां संशोधन अधिनियम, 2003
अनुच्छेद 268-ए के तहत सेवा कर का प्रावधान किया गया - संघ द्वारा लगाया जाने वाला सेवा कर तथा संघ और राज्यों द्वारा संग्रहित और विनियोजित किया जाने वाला सेवा कर।
92वां संशोधन अधिनियम, 2003
बोडो, डोगरी (डोंगरी), मैथिली और संथाली को आठवीं अनुसूची में जोड़ा गया
कुल आधिकारिक भाषाओं की संख्या 18 से बढ़ाकर 22 कर दी गई।
95वां संशोधन अधिनियम, 2009
लोकसभा और राज्य विधानसभाओं में अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के लिए सीटों का आरक्षण और एंग्लो-इंडियन के लिए विशेष प्रतिनिधित्व को दस साल की अवधि यानी 2020 तक बढ़ा दिया गया (अनुच्छेद 334)।
97वां संशोधन अधिनियम, 2011
सहकारी समितियों को संवैधानिक दर्जा दिया गया।
सहकारी समितियां बनाने का अधिकार मौलिक अधिकार बनाया गया (अनुच्छेद 19)
सहकारी समितियों को बढ़ावा देने के लिए राज्य नीति का एक नया निर्देशक सिद्धांत (अनुच्छेद 43-बी)
सहकारी समितियों के लिए संविधान में एक नया भाग IX-B जोड़ा गया।
100वां संशोधन अधिनियम, 2015भारत और बांग्लादेश के बीच भूमि सीमा समझौते 1974 को आगे बढ़ाने के लिए, बांग्लादेश के साथ कुछ परिक्षेत्र क्षेत्रों के आदान-प्रदान का उल्लेख किया गयाभारतीय संविधान की प्रथम अनुसूची में चार राज्यों (असम, पश्चिम बंगाल, मेघालय) के क्षेत्र से संबंधित प्रावधानों में संशोधन किया गया।
101वां संशोधन अधिनियम, 2016वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) लागू किया गया।
102वां संशोधन अधिनियम, 2018
राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (एनसीबीसी) को संवैधानिक दर्जा प्रदान किया गया।
103वां संशोधन अधिनियम, 2019
अनुच्छेद 15 के खंड (4) और (5) में उल्लिखित वर्गों के अलावा अन्य वर्गों के आर्थिक रूप से कमजोर नागरिकों के लिए अधिकतम 10% आरक्षण, अर्थात नागरिकों के सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़े वर्गों या अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के अलावा अन्य वर्ग।
104वां संशोधन अधिनियम, 2020लोकसभा और राज्य विधानसभाओं में अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के लिए सीटों की समाप्ति की समय सीमा सत्तर वर्ष से बढ़ाकर अस्सी वर्ष कर दी गई। लोकसभा और राज्य विधानसभाओं में एंग्लो-इंडियन समुदाय के लिए आरक्षित सीटें हटा दी गईं।105वां संशोधन अधिनियम, 2021सामाजिक एवं शैक्षणिक रूप से पिछड़े वर्गों (एसईबीसी) की सूची तैयार करने की राज्य सरकारों की शक्ति बहाल की गई।
106वां संशोधन अधिनियम, 2023
यह महिला आरक्षण विधेयक था, जो लोकसभा, राज्य विधानसभाओं और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली की विधानसभा में महिलाओं के लिए एक तिहाई सीटें आरक्षित करता है, जिनमें अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के लिए आरक्षित सीटें भी शामिल हैं।
👍 20🙏 2
राजस्थान की प्रमुख महिला व्यक्तित्व
🔷 लक्ष्मी कुमारी चुण्डावत
▪️ इन्हे रानी जी नाम से भी जाना जाता है । इनका जन्म 1916 में मेवाड़ के देवगढ़ ठिकाने में हुआ। इनका विवाह रावतसर के तेजसिंह के साथ हुआ। इनका कला, साहित्य व संस्कृति में विशेष योगदान रहा है ।
▪️ इन्होने अपने जीवनकाल में 35 पुस्तकों का प्रणयन (विमोचन) किया जिनमें प्रमुख पाबूजी री वातां, हुँकार दो सा, टाबरां री वातां, लव स्टोरी ऑफ राजस्थान, अमलोक वातां, मूमल, के रे चकवा बात आदि प्रमुख है ।
▪️ इनका राजनैतिक क्षेत्र में 11 वर्ष तक राज्य विधान सभा सदस्य तथा 1972 से 1978 तक राज्य सभा सदस्य के रूप में बनी रही ।
▪️नोट :- लक्ष्मी कुमारी चुण्डावत ने 1978 में न्यूयॉर्क में आयोजित निःशस्त्रीकरण सम्मेलन में भारत का प्रतिनिधित्व किया।
🔷 नारायणी देवी वर्मा
▪️ इनका जन्म 1902 में मध्यप्रदेश में हुआ। इनका विवाह माणिक्य लाल वर्मा के साथ हुआ । माणिक्य लाल वर्मा बिजौलिया ठिकाने में नौकरी करते थे ।
▪️ सन् 1934 में खाण्डलाई आश्रम डूंगरपुर में स्थापित किया ।
▪️ सन् 1939 में इन्होने मेवाड़ प्रजामण्डल में सक्रिय रूप से भाग लिया । इनको गिरफ्तार कर लिया गया । इन्होने 6 माह से अधिक अपनी पुत्री स्नेहलता वर्मा के साथ जेल में बिताये ।
▪️ सन् 1943 में इन्होने भीलवाड़ा में एक महिला आश्रम स्थापित किया । 12 मार्च 1947 को इनका निधन हो गया ।
🔷 रत्ना शास्त्री
▪️ इनका जन्म 1912 में मध्यप्रदेश में हुआ। इनका विवाह हीरा लाल शास्त्री के साथ हुआ । इनकी प्रारम्भिक शिक्षा – रतलाम में हुई ।
▪️ इन्होने जयपुर प्रजामण्डल में सक्रिय भूमिका अदा की ।
नोट :- इन्होने बिहार के प्रसिद्ध क्रान्तिकारी जगलाल चौधरी को शरण प्रदान की थी ।
▪️ स्वतन्त्रता के उपरान्त इन्हे पद्मश्री, पदम् विभूषण तथा जमना लाल बजाज पुरस्कार से सम्मानित किया गया ।
▪️ इन्होने अपनी पुत्री शान्ता बाई की मृत्यु पर शान्ता बाई जीवन कुटीर नामक संस्था की स्थापना की इसे वर्तमान में वनस्थली विद्यापीठ (टोंक) के नाम से जाना जाता है ।
🔷 झलकारी बाई
▪️ राजस्थान का कोली समाज की बालिका ने सन् 1857 की क्रान्ति के समय रानी लक्ष्मी बाई के स्थान पर उसका वेश धारण करके युद्ध किया ।
🔷 हाड़ी रानी जसवन्त दे
▪️ जोधपुर शासक जसवन्त सिंह की पत्नी हाड़ी रानी जसवन्त दे ने जब राजा जसवन्त सिंह धरमत के युद्ध में घायल होकर लौटे तो उनकी पत्नी जसवन्त दे ने दुर्ग के दरवाजे नही खोले । जसवन्त सिंह द्वारा यह कहने पर कि हम विजयी होकर लोटे है इसी के उपरान्त रानी ने दरवाजे खोले तथा जसवन्त दे ने जसवन्त सिंह को चांदी के बर्तनों के स्थान पर लकड़ी के बर्तनों में भोजन कराया। जसवन्त दे का कथन है कि “राजपूत युद्ध में या तो विजयी होकर लौटते है, या मरकर” ।
🔷 धीर बाई
▪️ जैसलमेर के भाटी राजवंश की पुत्री धीर बाई जिसे इतिहास में भटीयाणी रानी के नाम से जाना जाता है के विवाह मेवाड़ के शासक उदय सिंह के साथ हुआ था । उदय सिंह ने अपनी इसी रानी के प्रभाव में आकर महाराणा प्रताप के स्थान पर जगमाल को अपना उत्तराधिकारी घोषित किया ।
🔷 हाड़ी रानी
▪️ इसका मूल नाम सलह कंवर था । इनका जन्म बूंदी के जागीरदार संग्रामसिंह के घर में हुआ तथा इनका विवाह सलुम्बर के ठाकुर रतन सिंह चुण्डावत से हुआ । रतन सिंह मेवाड के तत्कालीन शासक राजसिंह की सेना में थे, जब औरंगजेब की सेना द्वारा मेवाड़ पर आक्रमण का खतरा मंडरा रहा था ऐसे समय में राजसिंह ने रतन सिंह को बुलावा भेजा ।
▪️ हाड़ी रानी ने युद्ध भूमि में जाते समय रतन सिंह चुण्डावत द्वारा निशानी मांगे जाने पर अपना शीश काटकर दे दिया था ।
🔷 नोट :- मेघराज मुकूल ने हाड़ीरानी पर “सेनाणी” नामक कविता लिखी है । जिसका शीर्षक है “चुण्डावत मांगी सेनाणी, सिर काट दियो क्षत्राणी”
🔷 गुलाब राय
▪️ जोधपुर महाराजा विजय सिंह की पासवान रानी गुलाबराय को कविराज श्यामल दास ने अपने ग्रन्थ “वीर विनोद” में “मारवाड़ की नूरजहाँ” नाम से संबोधित किया है ।
🔷 इन्दुमति गोयनका
▪️यह राजस्थान की मूल निवासी है, वर्तमान में कलकत्ता में है ।
▪️ सन् 1930 में सविनय अवज्ञा आन्दोलन के दौरान गिरफ्तार होने वाली राजस्थान की प्रथम महिला है, इन्हे बंगाल से गिरफ्तार किया गया था ।
🔷 यशोदा देवी
▪️ यह राजस्थान विधानसभा की प्रथम महिला सदस्य है । सन् 1953 में बांसवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के दौरान विधानसभा सदस्य निर्वाचित हुई
👍 10👏 3
Repost from RAS Mains+Pre
राजस्थान_सुजस,संयुक्तांकमार्च_जून2024.pdf
राजस्थान_सुजस,संयुक्तांकमार्च_जून2024.pdf15.75 MB
👍 5
✨डायरिया रोको अभियान-2024
🔹 शुरूआत - 1 जुलाई 2024
🔹 शुभारम्भ - केंद्रीय स्वास्थ्य परिवार कल्याण मंत्री, जेपी नड्डा द्वारा
🔹 यह अभियान देश भर में प्रत्येक जिला स्तर पर चलाया जाएगा।
🔹 बरसात के मौसम में डायरिया के बढ़ते प्रकोप के प्रति जागरूकता हेतु।
🔹 इस अभियान का संचालन 31 अगस्त 2024 तक किया जाएगा।
👍 13❤ 4
Repost from Springboard Family (Rajendra Choudhary)
राहुल गाँधी होंगे लोकसभा में नेता विपक्ष
इंडिया गठबंधन ने कांग्रेस नेता रायबरेली सांसद राहुल गाँधी को लोकसभा में विपक्ष का नेता या नेता प्रतिपक्ष चुना है।
वे कैबिनेट मंत्री के बराबर वेतन, भत्ते और अन्य सुविधाओं के हकदार हैं।
विपक्ष के नेता के पद का उल्लेख संविधान में नहीं बल्कि संसदीय संविधि में है।
लोकसभा में विपक्ष के नेता का पद पाने के लिए लोकसभा की कुल सीटों में से 10 प्रतिशत सीटें सुरक्षित होनी चाहिए अर्थात् 55 लोकसभा सांसद।
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष को सर्वप्रथम वर्ष 1969 में मान्यता दी गई थी।
दोनों सदनों में विपक्ष के नेता को वर्ष 1977 में वैधानिक मान्यता दी गई थी।
@springboardclips1953
👍 5
Выберите другой тариф
Ваш текущий тарифный план позволяет посмотреть аналитику только 5 каналов. Чтобы получить больше, выберите другой план.